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Latest Astrology Updates in Hindi

Bhariav Ashtmi Ka Mahattw

कौन है भैरव जी, काल भैरव की पूजा से क्या फायदे होते हैं, उज्जैन में मौजूद अष्ट-भैरव, भैरव अष्टमी का महत्त्व, उज्जैन में कैसे मनता है काल भैरव अष्टमी, भैरव पूजा से समस्या समाधान, kab hai kalbhairav ashtm i 2024. साल 2024 में 22 November, Shukrwar को भैरव अष्टमी मनाई जाएगी | अष्टमी तिथि 22 तारीख को शाम में लगभग 6:10  बजे से शुरू होगी और 23 तारीख को शाम को लगभग 7:58 तक रहेगी | Bhariav Ashtmi  2024: हिन्दू पंचाग के अनुसार अगहन महीने की कृष्ण पक्ष की अष्टमी भैरव अष्टमी के रूप में मनाया जाता है. मान्यता के अनुसार इस दिन भैरव जी का जन्म हुआ था. उज्जैन में भैरव अष्टमी बहुत ही हर्षोल्लास से मनता है. इस दिन काल भैरव मंदिर और अष्ट भैरव मंदिरों को खूब सजाया जाता है और विशेष पूजा अर्चना होती है. अर्ध रात्री को बाबा की आरती की जाती है.  कौन है काल भैरव ? भगवन शिव के रूद्र अवतार के रूप में काल भैरव को पूजा जाता है | ये शिवजी का प्रचंड रूप है  और इनकी पूजा से हर प्रकार के डर से जातक को निजात मिलती है |  जो लोग तंत्र में प्रवेश करना चाहते हैं वे भी इनकी पूजा से जल्द से जल्द सफलता प्राप्त करते ह

Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

माँ दुर्गा के 1008 मंत्र, maa ki kripa prapt karne ke achuk mantra, Devi Puja ke Mantra

मां दुर्गा के 1008 मंत्रो को जो रोज सुनते हैं या जाप करते हैं उनके ऊपर माता की असीम कृपा होती है, भाग्य जाग जाता है, जीवन में से परेशानियाँ समाप्त होती है | माता हर संकट हर विपदा से भक्त की रक्षा करती हैं | जप करने वाले के अन्दर नई उर्जा का संचार होता है, ऐश्वर्य और सफलता जातक के जीवन में आने लगती है | 

माँ दुर्गा के 1008 मंत्र, maa ki kripa prapt karne ke achuk mantra, Devi Puja ke Mantra
Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra


आइये प्रेम और श्रद्धा से जाप करते हैं माँ दुर्गा के 1008 दिव्य मंत्रो का :

ॐ महामायायै नम:।

ॐ वेदमात्रे नम:।

ॐ सुधायै नम:।

ॐ धृत्यै नम:।

ॐ प्रीतये नम:।

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ॐ प्रथायै नम:।

ॐ प्रसिद्धायै नम:।

ॐ मृडान्यै नम:।

ॐ विन्ध्यवासिन्यै नम:।

ॐ सिद्धविद्यायै नम:।

ॐ महाशक्तये नम:।

ॐ पृथ्व्यै नम:।

ॐ नारदसेवितायै नम:।

ॐ पुरुहूतप्रियायै नम:।

ॐ कान्तायै नम:।

ॐ कामिन्यै नम:।

ॐ पद्मलोचनायै नम:।

ॐ प्रह्लादिन्यै नम:।

ॐ महामात्रे नम:।

ॐ दुर्गायै नम:।

ॐ दुर्गतिनाशिन्यै नम:।

ॐ ज्वालामुख्यै नम:।

ॐ सुगोत्रायै नम:। Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ ज्योतिषे नम:।

ॐ कुमुदवासिन्यै नम:।

ॐ दुर्गमायै नम:।

ॐ दुर्लभायै नम:।

ॐ विद्यायै नम:।

ॐ स्वर्गत्यै नम:।

ॐ पुरवासिन्यै नम:।

ॐ अपर्णायै नम:।

ॐ शाम्बरीमायायै नम:।

ॐ मदिरायै नम:।

ॐ मृदुहासिन्यै नम:।

ॐ कुलवागीश्वर्यै नम:।

ॐ नित्यायै नम:।

ॐ नित्यक्लिन्नायै नम:।

ॐ कृशोदर्यै नम:।

ॐ कामेश्वर्यै नम:।

ॐ नीलायै नम:।

ॐ भीरुण्डायै नम:।

ॐ वह्निवासिन्यै नम:। 

Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ लम्बोदर्यै नम:।

ॐ महाकाल्यै नम:।

ॐ विद्याविद्येश्वर्यै नम:।

ॐ नरेश्वरायै नम:।

ॐ सत्यायै नम:।

ॐ सर्वसौभाग्यवर्धिन्यै नम:।

ॐ सङ्कर्षण्यै नम:।

ॐ नारसिंह्यै नम:।

ॐ वैष्णव्यै नम:।

ॐ महोदर्यै नम:।

ॐ कात्यायन्यै नम:।

ॐ चम्पायै नम:।

ॐ सर्वसम्पत्तिकारिण्यै नम:। Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ नारायण्यै नम:।

ॐ महानिद्रायै नम:।

ॐ योगनिद्रायै नम:।

ॐ प्रभावत्यै नम:।

ॐ प्रज्ञापारमितायै नम:।

ॐ प्रज्ञायै नम:।

ॐ तारायै नम:।

ॐ मधुमत्यै नम:।

ॐ मधुवे नम:।

ॐ क्षीरार्णवसुधाहारायै नम:।

ॐ कालिकायै नम:।

ॐ सिंहवाहिन्यै नम:।

ॐ ओंकारायै नम:।

ॐ वसुधाकारायै नम:।

ॐ चेतनायै नम:।

ॐ कोपनाकृत्यै नम:।

ॐ अर्धबिन्दुधरायै नम:।

ॐ धारायै नम:।

ॐ विश्वमात्रे नम:।

ॐ कलावत्यै नम:।

ॐ पद्मावत्यै नम:।

ॐ सुवस्त्रायै नम:। Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ प्रबुद्धायै नम:।

ॐ सरस्वत्यै नम:।

ॐ कुण्डासनायै नम:।

ॐ जगद्धात्र्यै नम:।

ॐ बुद्धमात्रे नम:।

ॐ जिनेश्वर्यै नम:।

ॐ जिनमात्रे नम:।

ॐ जिनेन्द्रायै नम:।

ॐ शारदायै नम:।

ॐ हंसवाहनायै नम:।

ॐ राज्यलक्ष्म्यै नम:।

ॐ वषट्कारायै नम:।

ॐ सुधाकारायै नम:।

ॐ सुधात्मिकायै नम:।

ॐ राजनीतये नम:।

ॐ त्रय्यै नम:।

ॐ वार्तायै नम:। Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ दण्डनीतये नम:।

ॐ कियावत्यै नम:।

ॐ सद्भूत्यै नम:।

ॐ तारिण्यै नम:।

ॐ श्रद्धायै नम:।

ॐ सद्गतये नम:।

ॐ सत्परायणायै नम:।

ॐ सिन्धवे नम:।

ॐ मन्दाकिन्यै नम:।

ॐ दुर्गायै नम:।

ॐ महाविद्यायै नम:।

ॐ जगन्मात्रे नम:।

ॐ महालक्ष्म्यै नम:।

ॐ शिवप्रियायै नम:।

ॐ विष्णुमायायै नम:।

ॐ शुभायै नम:।

ॐ शान्तायै नम:।

ॐ सिद्धायै नम:।

ॐ सिद्धसरस्वत्यै नम:।

ॐ क्षमायै नम:।

ॐ कान्त्यै नम:।

ॐ प्रभायै नम:।

ॐ ज्योत्स्नायै नम:।

ॐ पार्वत्यै नम:।

ॐ सर्वमङ्गलायै नम:।

ॐ हिङ्गुलायै नम:।

ॐ चण्डिकायै नम:।

ॐ दान्तायै नम:।

ॐ पद्मायै नम:।

ॐ लक्ष्म्यै नम:।

ॐ हरिप्रियायै नम:।

ॐ त्रिपुरायै नम:।

ॐ नन्दिन्यै नम:।

ॐ नन्दायै नम:।

ॐ सुनन्दायै नम:।

ॐ सुरवन्दितायै नम:।

ॐ यज्ञविद्यायै नम:।

ॐ गङ्गायै नम:।

ॐ यमुनायै नम:।

ॐ सरस्वत्यै नम:।

ॐ गोदावर्यै नम:।

ॐ विपाशायै नम:।

ॐ कावेर्यै नम:।

ॐ शतहन्दायै नम:।

ॐ सरय्वै नम:।

ॐ चन्द्रभागायै नम:।

ॐ कौशिक्यै नम:।

ॐ गण्डक्यै नम:।

ॐ शुचये नम:।

ॐ नर्मदायै नम:।

ॐ कर्मनाशाय नम:।

ॐ चर्मण्वत्यै नम:।

ॐ देविकायै नम:।

ॐ वेत्रवत्यै नम:।

ॐ वितस्तायै नम:।

ॐ वरदायै नम:।

ॐ नरवाहनायै नम:।

ॐ सत्यै नम:।

ॐ पतिव्रतायै नम:।

ॐ साध्व्यै नम:।

ॐ सुचक्षुषे नम:।

ॐ कुण्डवासिन्यै नम:।

ॐ एकचक्षुषे नम:।

ॐ सहस्राक्ष्यै नम:।

ॐ सुश्रोण्यै नम:।

ॐ भगमालिन्यै नम:।

ॐ सेना नम:।

ॐ श्रोण्यै नम:।

ॐ पताकायै नम:।

ॐ सुव्यूहायै नम:।

ॐ युद्धकान्क्षिण्यै नम:।

ॐ पताकिन्यै नम:।

ॐ दयारम्भायै नम:।

ॐ विपञ्चीपञ्चमप्रियायै नम:।

ॐ परापरकलाकान्तायै नम:।

ॐ त्रिशक्तये नम:।

ॐ मोक्षदायिन्यै नम:।

ॐ ऐन्द्रयै नम:।

ॐ माहेश्वर्यै नम:।

ॐ ब्राह्मयै नम:।

ॐ कौमार्यै नम:।

ॐ कुलवासिन्यै नम:।

ॐ इच्छायै नम:।

ॐ भगवत्यै नम:।

ॐ शक्तये नम:।

ॐ कामधेनवे नम:।

ॐ कृपावत्यै नम:।

ॐ वज्रायुधायै नम:।

ॐ वज्रहस्तायै नम:।

ॐ चण्ड्यै नम:।

ॐ चण्डपराक्रमायै नम:।

ॐ गौर्यै नम:।

ॐ सुवर्णवर्णायै नम:।

ॐ स्थितिसंहारकारिण्यै नम:।

ॐ एकायै नम:।

ॐ अनेकायै नम:।

ॐ महेज्यायै नम:।

ॐ शतबाहवे नम:।

ॐ महाभुजायै नम:।

ॐ भुजङ्गभूषणायै नम:। Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ भूषायै नम:।

ॐ षट्चक्रक्रमवासिन्यै नम:।

ॐ षट्चक्रभेदिन्यै नम:।

ॐ श्यामायै नम:।

ॐ कायस्थायै नम:।

ॐ कायवर्जितायै नम:।

ॐ सुस्मितायै नम:।

ॐ सुमुख्यै नम:।

ॐ क्षामायै नम:।

ॐ मूलप्रकृत्यै नम:।

ॐ ईश्वर्यै नम:।

ॐ अजायै नम:।

ॐ बहुवर्णायै नम:।

ॐ पुरुषार्थप्रवर्तिन्यै नम:।

ॐ रक्तायै नम:।

ॐ नीलायै नम:।

ॐ सितायै नम:।

ॐ श्यामायै नम:।

ॐ कृष्णायै नम:।

ॐ पीतायै नम:।

ॐ कर्बुरायै नम:।

ॐ क्षुधायै नम:।

ॐ तृष्णायै नम:।

ॐ जरावृद्धायै नम:।

ॐ तरुण्यै नम:।

ॐ करुणालयायै नम:।

ॐ कलायै नम:।

ॐ काष्ठायै नम:।

ॐ मुहूर्तायै नम:।

ॐ निमिषायै नम:।

ॐ कालरूपिण्यै नम:।

ॐ सुकर्णरसनायै नम:।

ॐ नासायै नम:।

ॐ चक्षुषे नम:।

ॐ स्पर्शवत्यै नम:।

ॐ रसायै नम:।

ॐ गन्धप्रियायै नम:।

ॐ सुगन्धायै नम:।

ॐ सुस्पर्शायै नम:।

ॐ मनोगतये नम:।

ॐ मृगनाभये नम:।

ॐ मृगाक्ष्यै नम:।

ॐ कर्पूरामोदधारिण्यै नम:।

ॐ पद्मयोनये नम:।

ॐ सुकेश्यै नम:।

ॐ सुलिङ्गायै नम:।

ॐ भगरूपिण्यै नम:।

ॐ योनिमुद्रायै नम:।

ॐ महामुद्रायै नम:।

ॐ खेचर्यै नम:।

ॐ खगगामिन्यै नम:।

ॐ मधुश्रियै नम:।

ॐ माधवीवल्लयै नम:।

ॐ मधुमत्तायै नम:।

ॐ मदोद्धतायै नम:।

ॐ मातङ्ग्यै नम:।

ॐ शुकहस्तायै नम:।

ॐ पुष्पबाणायै नम:।

ॐ इक्षुचापिन्यै नम:।

ॐ रक्ताम्बरधरायै नम:।

ॐ क्षीवायै नम:।

ॐ रक्तपुष्पावतंसिन्यै नम:।

ॐ शुभ्राम्बरधरायै नम:।

ॐ धीरायै नम:।

ॐ महाश्वेतायै नम:।

ॐ वसुप्रियायै नम:।

ॐ सुवेणये नम:।

ॐ पद्महस्तायै नम:।

ॐ मुक्ताहारविभूषणायै नम:।

ॐ कर्पूरामोदनि:श्वासायै नम:। Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ पद्मिन्यै नम:।

ॐ पद्ममन्दिरायै नम:।

ॐ खड्गिन्यै नम:।

ॐ चक्रहस्तायै नम:।

ॐ भुसुण्ड्यै नम:।

ॐ परिघायुधायै नम:।

ॐ चापिन्यै नम:।

ॐ पाशहस्तायै नम:।

ॐ त्रिशूलवरधारिण्यै नम:।

ॐ सुबाणायै नम:।

ॐ शक्तिहस्तायै नम:।

ॐ मयूरवरवाहनायै नम:।

ॐ वरायुधधरायै नम:।

ॐ वीरायै नम:।

ॐ वीरपानमदोत्कटायै नम:।

ॐ वसुधायै नम:।

ॐ वसुधारायै नम:।

ॐ जयायै नम:।

ॐ शाकम्भर्यै नम:।

ॐ शिवायै नम:।

ॐ विजयायै नम:।

ॐ जयन्त्यै नम:।

ॐ सुस्तन्यै नम:।

ॐ शत्रुनाशिन्यै नम:।

ॐ अन्तर्वत्न्यै नम:।

ॐ वेदशक्तये नम:।

ॐ वरदायै नम:।

ॐ वरधारिण्यै नम:।

ॐ शीतलायै नम:।

ॐ सुशीलायै नम:।

ॐ बालग्रहविनाशिन्यै नम:।

ॐ कुमार्यै नम:।

ॐ सुपर्वायै नम:।

ॐ कामाख्यायै नम:।

ॐ कामवन्दितायै नम:।

ॐ जालन्धरधरायै नम:।

ॐ अनन्तायै नम:।

ॐ कामरूपनिवासिन्यै नम:।

ॐ कामबीजवत्यै नम:।

ॐ सत्यायै नम:।

ॐ सत्यधर्मपरायणायै नम:।

ॐ स्थूलमार्गस्थितायै नम:।

ॐ सूक्ष्मायै नम:।

ॐ सूक्ष्मबुद्धिप्रबोधिन्यै नम:।

ॐ षट्कोणायै नम:।

ॐ त्रिकोणायै नम:।

ॐ त्रिनेत्रायै नम:।

ॐ त्रिपुरसुन्दर्यै नम:।

ॐ वृषप्रियायै नम:।

ॐ वृषारूढायै नम:।

ॐ महिषासुरघातिन्यै नम:।

ॐ शुम्भदर्पहरायै नम:।

ॐ दीप्तायै नम:।

ॐ दीप्तपावकसन्निभायै नम:।

ॐ कपालभूषणायै नम:।

ॐ काल्यै नम:।

ॐ कपालमाल्यधारिण्यै नम:।

ॐ कपालकुण्डलायै नम:।

ॐ दीर्घायै नम:।

ॐ शिवदूत्यै नम:।

ॐ घनध्वनये नम:।

ॐ सिद्धिदायै नम:।

ॐ बुद्धिदायै नम:।

ॐ नित्यायै नम:।

ॐ सत्यमार्गप्रबोधिन्यै नम:।

ॐ कम्बुग्रीवायै नम:।

ॐ वसुमत्यै नम:।

ॐ छत्रच्छायाकृतालयायै नम:।

ॐ जगद्गर्भायै नम:।

ॐ कुण्डलिन्यै नम:।

ॐ भुजगाकारशायिन्यै नम:।

ॐ प्रोल्लसत्सप्तपद्मायै नम:।

ॐ नाभिनालमृणालिन्यै नम:।

ॐ मूलाधारायै नम:।

ॐ निराकारायै नम:।

ॐ वह्रिकुण्डकृतालयायै नम:।

ॐ वायुकुण्डसुखासीनायै नम:।

ॐ निराधारायै नम:।

ॐ निराश्रयायै नम:।

ॐ श्वासोच्छ्वासगत्यै नम:।

ॐ जीवायै नम:।

ॐ ग्राहिण्यै नम:।

ॐ वह्निसंश्रयायै नम:।

ॐ वह्नितन्तुसमुत्थानायै नम:।

ॐ षड्रसास्वादलोलुपायै नम:।

ॐ तपस्विन्यै नम:।

ॐ तप:सिद्धये नम:।

ॐ तापस्यै नम:।

ॐ तप:प्रियायै नम:।

ॐ तपोनिष्ठायै नम:।

ॐ तपोयुक्तायै नम:।

ॐ तपस: सिद्धिदायिन्यै नम:।

ॐ सप्तधातुमयीमूर्तये नम:।

ॐ सप्तधात्वन्तराश्रयायै नम:।

ॐ देहपुष्टये नम:।

ॐ मन: तुष्टये नम:।

ॐ अन्नपुष्टये नम:।

ॐ बलोद्धतायै नम:।

ॐ ओषधये नम:।

ॐ वैद्यमात्रे नम:।

ॐ द्रव्यशक्तये नम:।

ॐ प्रभाविन्यै नम:।

ॐ वैद्यायै नम:।

ॐ वैद्यचिकित्सायै नम:। Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ सुपथ्यायै नम:।

ॐ रोगनाशिन्यै नम:।

ॐ मृगयायै नम:।

ॐ मृगमांसादायै नम:।

ॐ मृगत्वचे नम:।

ॐ मृगलोचनायै नम:।

ॐ वागुरायै नम:।

ॐ बन्धरूपायै नम:।

ॐ वधरूपायै नम:।

ॐ वधोद्धतायै नम:।

ॐ बन्द्यै नम:।

ॐ वन्दिस्तुताकारायै नम:।

ॐ काराबन्धविमोचन्यै नम:।

ॐ शृङ्खलायै नम:।

ॐ खलहायै नम:।

ॐ विद्युते नम:।

ॐ दृढबन्धविमोचन्यै नम:।

ॐ अम्बिकायै नम:।

ॐ अम्बालिकायै नम:।

ॐ अम्बायै नम:।

ॐ स्वक्षायै नम:।

ॐ साधुजनार्चितायै नम:।

ॐ कौलिक्यै नम:।

ॐ कुलविद्यायै नम:।

ॐ सुकुलायै नम:।

ॐ कुलपूजितायै नम:।

ॐ कालचक्रभ्रमायै नम:।

ॐ भ्रान्तायै नम:।

ॐ विभ्रमायै नम:।

ॐ भ्रमनाशिन्यै नम:।

ॐ वात्याल्यै नम:।

ॐ मेघमालायै नम:।

ॐ सुवृष्ट्यै नम:। 

ॐ सस्यवर्धिन्यै नम:।

ॐ अकारायै नम:।

ॐ इकारायै नम:।

ॐ उकारायै नम:।

ॐ ऐकाररूपिण्यै नम:।

ॐ ह्रींकार्यै नम:।

ॐ बीजरूपायै नम:।

ॐ क्लींकारायै नम:।

ॐ अम्बरवासिन्यै नम:।

ॐ सर्वाक्षरमयीशक्तये नम:।

ॐ अक्षरायै नम:।

ॐ वर्णमालिन्यै नम:।

ॐ सिन्दूरारुणवक्त्रायै नम:।

ॐ सिन्दूरतिलकप्रियायै नम:।

ॐ वश्यायै नम:।

ॐ वश्यबीजायै नम:।

ॐ लोकवश्यविभाविन्यै नम:।

ॐ नृपवश्यायै नम:।

ॐ नृपै:सेव्यायै नम:।

ॐ नृपवश्यकर्यै नम:।

ॐ प्रियायै नम:।

ॐ महिष्यै नम:।

ॐ नृपमान्यायै नम:।

ॐ नृमान्यायै नम:।

ॐ नृपनन्दिन्यै नम:।

ॐ नृपधर्ममय्यै नम:।

ॐ धन्यायै नम:।

ॐ धनधान्यविवर्धिन्यै नम:।

ॐ चतुर्वर्णमयीमूर्तये नम:।

ॐ चतुर्वर्णैः सुपूजितायै नम:।

ॐ सर्वधर्ममयीसिद्धये नम:।

ॐ चतुराश्रमवासिन्यै नम:।

ॐ ब्राह्मण्यै नम:।

ॐ क्षत्रियायै नम:।

ॐ वैश्यायै नम:।

ॐ शूद्रायै नम:।

ॐ अवरवर्णजायै नम:।

ॐ वेदमार्गरतायै नम:।

ॐ यज्ञायै नम:।

ॐ वेदविश्वविभाविन्यै नम:।

ॐ अस्त्रशस्त्रमयीविद्यायै नम:।

ॐ वरशस्त्रास्त्रधारिण्यै नम:।

ॐ सुमेधायै नम:।

ॐ सत्यमेधायै नम:।

ॐ भद्रकाल्यै नम:।

ॐ अपराजितायै नम:।

ॐ गायत्र्यै नम:।

ॐ सत्कृतये नम:।

ॐ सन्ध्यायै नम:।

ॐ सावित्र्यै नम:।

ॐ त्रिपदाश्रयायै नम:। Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ त्रिसन्ध्यायै नम:।

ॐ त्रिपद्यै नम:।

ॐ धात्र्यै नम:।

ॐ सुपर्वायै नम:।

ॐ सामगायन्यै नम:।

ॐ पाञ्चाल्यै नम:।

ॐ बालिकायै नम:।

ॐ बालायै नम:।

ॐ बालक्रीडायै नम:। Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ सनातन्यै नम:।

ॐ ग्रर्भाधारधरायै नम:।

ॐ शून्यायै नम:।

ॐ गर्भाशयनिवासिन्यै नम:।

ॐ सुरारिघातिनीकृत्यायै नम:।

ॐ पूतनायै नम:।

ॐ तिलोत्तमायै नम:।

ॐ लज्जायै नम:।

ॐ रसवत्यै नम:।

ॐ नन्दायै नम:।

ॐ भवान्यै नम:।

ॐ पापनाशिन्यै नम:।

ॐ पट्टाम्बरधरायै नम:।

ॐ गीतये नम:।

ॐ सुगीतये नम:।

ॐ ज्ञानलोचनायै नम:।

ॐ सप्तस्वरमयीतन्त्र्यै नम:।

ॐ षड्जमध्यमधैवतायै नम:।

ॐ मूर्च्छनाग्रामसंस्थानायै नम:।

ॐ स्वस्थायै नम:।

ॐ स्वस्थानवासिन्यै नम:।

ॐ अट्टाटहासिन्यै नम:।

ॐ प्रेतायै नम:।

ॐ प्रेतासननिवासिन्यै नम:।

ॐ गीतनृत्यप्रियायै नम:।

ॐ अकामायै नम:।

ॐ तुष्टिदायै नम:।

ॐ पुष्टिदायै नम:।

ॐ अक्षयायै नम:।

ॐ निष्ठायै नम:।

ॐ सत्यप्रियायै नम:।

ॐ प्राज्ञायै नम:।

ॐ लोकेश्यै नम:।

ॐ सुरोत्तमायै नम:।

ॐ सविषायै नम:।

ॐ ज्वालिन्यै नम:।

ॐ ज्वालायै नम:।

ॐ विषमोहार्तिनाशिन्यै नम:।

ॐ विषारये नम:।

ॐ नागदमन्यै नम:।

ॐ कुरुकुल्लायै नम:।

ॐ अमृतोद्भवायै नम:।

ॐ भूतभीतिहरारक्षायै नम:।

ॐ भूतावेशविनाशिन्यै नम:।

ॐ रक्षोघ्न्यै नम:।

ॐ राक्षस्यै नम:।

ॐ रात्रये नम:।

ॐ दीर्घनिद्रायै नम:।

ॐ दिवागतये नम:।

ॐ चन्द्रिकायै नम:।

ॐ चन्द्रकान्तये नम:।

ॐ सूर्यकान्तये नम:।

ॐ निशाचर्यै नम:।

ॐ डाकिन्यै नम:।

ॐ शाकिन्यै नम:।

ॐ शिष्यायै नम:।

ॐ हाकिन्यै नम:।

ॐ चक्रवाकिन्यै नम:।

ॐ सितासितप्रियायै नम:।

ॐ स्वङ्गायै नम:।

ॐ सकलायै नम:।

ॐ वनदेवतायै नम:।

ॐ गुरुरूपधरायै नम:।

ॐ गुर्व्यै नम:।

ॐ मृत्यवे नम:।

ॐ मार्यै नम:।

ॐ विशारदायै नम:।

ॐ महामार्यै नम:।

ॐ विनिद्रायै नम:।

ॐ तन्द्रायै नम:।

ॐ मृत्युविनाशिन्यै नम:।

ॐ चन्द्रमण्डलसङ्काशायै नम:।

ॐ चन्द्रमण्डलवासिन्यै नम:।

ॐ अणिमादिगुणोपेतायै नम:। Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ सुस्पृहायै नम:।

ॐ कामरूपिण्यै नम:।

ॐ अष्टसिद्धिप्रदायै नम:।

ॐ प्रौढायै नम:।

ॐ दुष्टदानवघातिन्यै नम:।

ॐ अनादिनिधनापुष्टये नम:।

ॐ चतुर्बाहवे नम:।

ॐ चतुर्मुख्यै नम:।

ॐ चतु:समुद्रशयनायै नम:।

ॐ चतुर्वर्गफलप्रदायै नम:।

ॐ काशपुष्पप्रतीकाशायै नम:।

ॐ शरत्कुमुदलोचनायै नम:।

ॐ भूतायै नम:।

ॐ भव्यायै नम:।

ॐ भविष्यायै नम:।

ॐ शैलजायै नम:।

ॐ शैलवासिन्यै नम:।

ॐ वाममार्गरतायै नम:।

ॐ वामायै नम:।

ॐ शिववामाङ्गवासिन्यै नम:।

ॐ वामाचारप्रियायै नम:।

ॐ तुष्टायै नम:।

ॐ लोपामुद्रायै नम:।

ॐ प्रबोधिन्यै नम:।

ॐ भूतात्मने नम:।

ॐ परमात्मने नम

ॐ भूतभाविविभाविन्यै नम:।

ॐ मङ्गलायै नम:।

ॐ सुशीलायै नम:।

ॐ परमार्थप्रबोधिन्यै नम:।

ॐ दक्षिणायै नम:।

ॐ दक्षिणामूर्तये नम:।

ॐ सुदक्षिणायै नम:।

ॐ हरिप्रियायै नम:।

ॐ योगिन्यै नम:।

ॐ योगयुक्तायै नम:।

ॐ योगाङ्गायै नम:।

ॐ ध्यानशालिन्यै नम:।

ॐ योगपट्टधरायै नम:।

ॐ मुक्तायै नम:।

ॐ मुक्तानांपरमागतये नम:।

ॐ नारसिंह्यै नम:।

ॐ सुजन्मायै नम:।

ॐ त्रिवर्गफलदायिन्यै नम:।

ॐ धर्मदायै नम:।

ॐ धनदायै नम:।

ॐ कामदायै नम:।

ॐ मोक्षदायै नम:।

ॐ द्युतये नम:।

ॐ साक्षिण्यै नम:।

ॐ क्षणदायै नम:।

ॐ दक्षायै नम:।

ॐ दक्षजायै नम:।

ॐ कोटिरूपिण्यै नम:।

ॐ क्रतवे नम:।

ॐ कात्यायन्यै नम:।

ॐ स्वछायै नम:।

ॐ स्वच्छन्दायै नम:।

ॐ कविप्रियायै नम:।

ॐ सत्यागमायै नम:।

ॐ बहि:स्थायै नम:।

ॐ काव्यशक्तये नम:।

ॐ कवित्वदायै नम:।

ॐ मेनापुत्र्यै नम:।

ॐ सतीमात्रे नम:।

ॐ मैनाकभगिन्यै नम:।

ॐ तडिते नम:।

ॐ सौदामिन्यै नम:।

ॐ स्वधामायै नम:।

ॐ सुधामायै नम:।

ॐ धामशालिन्यै नम:।

ॐ सौभाग्यदायिन्यै नम:।

ॐ दिवे नम:।

ॐ सुभगायै नम:।

ॐ द्युतिवर्धिन्यै नम:। Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ श्रिये नम:।

ॐ कृत्तिवसनायै नम:।

ॐ कङ्काल्यै नम:।

ॐ कलिनाशिन्यै नम:।

ॐ रक्तबीजवधोद्दृप्तायै नम:।

ॐ सुतन्तवे नम:।

ॐ बीजसन्ततये नम:।

ॐ जगज्जीवायै नम:।

ॐ जगद्बीजायै नम:।

ॐ जगत्त्रयहितैषिण्यै नम:।

ॐ चामीकररुचये नम:।

ॐ चान्द्रीसाक्षयाषोडशीकलायै नम:।

ॐ यत्तत्पदानुबन्धायै नम:।

ॐ यक्षिण्यै नम:।

ॐ धनदार्चितायै नम:।

ॐ चित्रिण्यै नम:।

ॐ चित्रमायायै नम:।

ॐ विचित्रायै नम:।

ॐ भुवनेश्वर्यै नम:।

ॐ चामुण्डायै नम:।

ॐ मुण्डहस्तायै नम:।

ॐ चण्डमुण्डवधोद्धुरायै नम:।

ॐ अष्टम्यै नम:।

ॐ एकादश्यै नम:।

ॐ पूर्णायै नम:।

ॐ नवम्यै नम:।

ॐ चतुर्दश्यै नम:।

ॐ अमायै नम:।

ॐ कलशहस्तायै नम:।

ॐ पूर्णकुम्भधरायै नम:।

ॐ धरायै नम:।

ॐ अभीरवे नम:।

ॐ भैरव्यै नम:।

ॐ भीरायै नम:।

ॐ भीमायै नम:।

ॐ त्रिपुरभैरव्यै नम:।

ॐ महारुण्डायै नम:।

ॐ रौद्र्यै नम:।

ॐ महाभैरवपूजितायै नम:।

ॐ निर्मुण्डायै नम:।

ॐ हस्तिन्यै नम:।

ॐ चण्डायै नम:।

ॐ करालदशनाननायै नम:।

ॐ करालायै नम:।

ॐ विकरालायै नम:।

ॐ घोरघुर्घुरनादिन्यै नम:।

ॐ रक्तदन्तायै नम:।

ॐ ऊर्ध्वकेश्यै नम:।

ॐ बन्धूककुसुमारुणायै नम:।

ॐ कादम्बर्यै नम:।

ॐ पटासायै नम:।

ॐ काश्मीर्यै नम:।

ॐ कुंकुमप्रियायै नम:।

ॐ क्षान्तये नम:।

ॐ बहुसुवर्णायै नम:।

ॐ रतये नम:।

ॐ बहुसुवर्णदायै नम:।

ॐ मातङ्गिन्यै नम:।

ॐ वरारोहायै नम:।

ॐ मत्तमातङ्गगामिन्यै नम:। Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ हिंसायै नम:।

ॐ हंसगतये नम:।

ॐ हंस्यै नम:।

ॐ हंसोज्ज्वलशिरोरुहायै नम:।

ॐ पूर्णचन्द्रमुख्यै नम:।

ॐ श्यामायै नम:।

ॐ स्मितास्यायै नम:।

ॐ श्यामकुण्डलायै नम:।

ॐ मष्यै नम:।

ॐ लेखिन्यै नम:।

ॐ लेख्यायै नम:।

ॐ सुलेखायै नम:।

ॐ लेखकप्रियायै नम:।

ॐ शङ्खिन्यै नम:।

ॐ शङ्खहस्तायै नम:।

ॐ जलस्थायै नम:।

ॐ जलदेवतायै नम:।

ॐ कुरुक्षेत्रावनये नम:।

ॐ काश्यै नम:।

ॐ मथुरायै नम:।

ॐ काञ्च्यै नम:।

ॐ अवन्तिकायै नम:।

ॐ अयोध्यायै नम:।

ॐ द्वारकायै नम:।

ॐ मायायै नम:।

ॐ तीर्थायै नम:।

ॐ तीर्थकरप्रियायै नम:।

ॐ त्रिपुष्करायै नम:।

ॐ अप्रमेयायै नम:।

ॐ कोशस्थायै नम:।

ॐ कोशवासिन्यै नम:। Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ कौशिक्यै नम:।

ॐ कुशावर्तायै नम:।

ॐ कौशाम्ब्यै नम:।

ॐ कोशवर्धिन्यै नम:।

ॐ कोशदायै नम:।

ॐ पद्मकोशाक्ष्यै नम:।

ॐ कुसुमायै नम:।

ॐ कुसुमप्रियायै नम:।

ॐ तोतुलायै नम:।

ॐ तुलाकोटयै नम:।

ॐ कूटस्थायै नम:।

ॐ कोटराश्रयायै नम:।

ॐ स्वयम्भुवे नम:।

ॐ सुरूपायै नम:।

ॐ स्वरूपायै नम:।

ॐ रूपवर्धिन्यै नम:।

ॐ तेजस्विन्यै नम:।

ॐ सुभिक्षायै नम:।

ॐ बलदायै नम:।

ॐ बलदायिन्यै नम:।

ॐ महाकोश्यै नम:।

ॐ महावर्तायै नम:।

ॐ बुद्धिसदसदात्मिकायै नम:।

ॐ महाग्रहहरायै नम:।

ॐ सौम्यायै नम:।

ॐ विशोकायै नम:।

ॐ शोकनाशिन्यै नम:।

ॐ सात्त्विक्यै नम:।

ॐ सत्त्वसंस्थायै नम:।

ॐ राजस्यै नम:।

ॐ रजोवृतायै नम:।

ॐ तामस्यै नम:।

ॐ तमोयुक्तायै नम:।

ॐ गुणत्रयविभाविन्यै नम:।

ॐ अव्यक्तायै नम:।

ॐ व्यक्तरूपायै नम:।

ॐ वेदविद्यायै नम:।

ॐ शाम्भव्यै नम:।

ॐ शङ्कराकल्पिनीकल्पायै नम:।

ॐ मन:सङ्कल्पसन्ततये नम:।

ॐ सर्वलोकमयीशक्तये नम:।

ॐ सर्वश्रवणगोचरायै नम:।

ॐ सर्वज्ञानवतीवाञ्छायै नम:।

ॐ सर्वतत्त्वानुबोधिन्यै नम:।

ॐ जागृत्यै नम:।

ॐ सुषुप्तये नम:।

ॐ स्वप्नावस्थायै नम:।

ॐ तुरीयकायै नम:।

ॐ त्वरायै नम:।

ॐ मन्दगतये नम:। 

ॐ मन्दायै नम:।

ॐ मन्दिरामोदधारिण्यै नम:।

ॐ पानभूमये नम:।

ॐ पानपात्रायै नम:।

ॐ पानदानकरोद्यतायै नम:।

ॐ अघूर्णारुणनेत्रायै नम:।

ॐ किञ्चिदव्यक्तभाषिण्यै नम:।

ॐ आशापूरायै नम:।

ॐ दीक्षायै नम:।

ॐ दक्षायै नम:।

ॐ दीक्षितपूजितायै नम:।

ॐ नागवल्ल्यै नम:।

ॐ नागकन्यायै नम:।

ॐ भोगिन्यै नम:।

ॐ भोगवल्लभायै नम:।

ॐ सर्वशास्त्रवतीविद्यायै नम:।

ॐ सुस्मृतये नम:।

ॐ धर्मवादिन्यै नम:।

ॐ श्रुतये नम:।

ॐ श्रुतिधरायै नम:।

ॐ ज्येष्ठायै नम:। Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ श्रेष्ठायै नम:।

ॐ पातालवासिन्यै नम:।

ॐ मीमांसायै नम:।

ॐ तर्कविद्यायै नम:।

ॐ सुभक्तये नम:।

ॐ भक्तवत्सलायै नम:।

ॐ सुनाभये नम:।

ॐ यातनायै नम:।

ॐ जातये नम:।

ॐ गम्भीरायै नम:।

ॐ भाववर्जितायै नम:।

ॐ नागपाशधरामूर्तये नम:।

ॐ अगाधायै नम:।

ॐ नागकुण्डलायै नम:।

ॐ सुचक्रायै नम:।

ॐ चक्रमध्यस्थायै नम:।

ॐ चक्रकोणनिवासिन्यै नम:।

ॐ सर्वमन्त्रमयीविद्यायै नम:।

ॐ सर्वमन्त्राक्षरावलये नम:।

ॐ मधुस्रवायै नम:।

ॐ स्रवन्त्यै नम:।

ॐ भ्रामर्यै नम:।

ॐ भ्रमरालकायै नम:।

ॐ मातृमण्डलमध्यस्थायै नम:।

ॐ मातृमण्डलवासिन्यै नम:।

ॐ कुमारजनन्यै नम:। Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ क्रूरायै नम:।

ॐ सुमुख्यै नम:।

ॐ ज्वरनाशिन्यै नम:।

ॐ अतीतायै नम:।

ॐ विद्यमानायै नम:।

ॐ भाविन्यै नम:।

ॐ प्रीतिमञ्जर्यै नम:।

ॐ सर्वसौख्यवतीयुक्तये नम:।

ॐ आहारपरिणामिन्यै नम:।

ॐ पञ्चभूतानांनिधानायै नम:।

ॐ भवसागरतारिण्यै नम:।

ॐ अक्रूरायै नम:।

ॐ ग्रहवत्यै नम:।

ॐ विग्रहायै नम:।

ॐ ग्रहवर्जितायै नम:।

ॐ रोहिण्यै नम:।

ॐ भूमिगर्भायै नम:।

ॐ कालभुवे नम:।

ॐ कालवर्तिन्यै नम:। Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ कलङ्करहितानार्यै नम:।

ॐ चतुष्षष्ट्यभिधावत्यै नम:।

ॐ जीर्णायै नम:।

ॐ जीर्णवस्त्रायै नम:।

ॐ नूतनायै नम:।

ॐ नववल्लभायै नम:।

ॐ अरजायै नम:।

ॐ रतये नम:।

ॐ प्रीतये नम:।

ॐ रतिरागविवर्धिन्यै नम:।

ॐ पञ्चवातगतिर्भिन्नायै नम:।

ॐ पञ्चश्लेष्माशयाधरायै नम:।

ॐ पञ्चपित्तवतीशक्तये नम:।

ॐ पञ्चस्थानविबोधिन्यै नम:।

ॐ उदक्यायै नम:।

ॐ वृषस्यन्त्यै नम:।

ॐ त्र्यहंबहि:प्रस्रविण्यै नम:।

ॐ रज:शुक्रधराशक्तये नम:।

ॐ जरायवे नम:।

ॐ गर्भधारिण्यै नम:।

ॐ त्रिकालज्ञायै नम:।

ॐ त्रिलिङ्गायै नम:।

ॐ त्रिमूर्तये नम:।

ॐ त्रिपुरवासिन्यै नम:। Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ अरागायै नम:।

ॐ शिवतत्त्वायै नम:।

ॐ कामतत्त्वानुरागिण्यै नम:।

ॐ प्राच्यै नम:।

ॐ अवाच्यै नम:।

ॐ प्रतीच्यै नम:।

ॐ उदीच्यै नम:।

ॐ विदिग्दिशायै नम:।

ॐ अहङ्कृतये नम:।

ॐ अहङ्कारायै नम:।

ॐ बलिमायायै नम:।

ॐ बलिप्रियायै नम:।

ॐ स्रुचे नम:।

ॐ स्रुवायै नम:।

ॐ सामिधेन्यै नम:। Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ सश्रद्धायै नम:।

ॐ श्राद्धदेवतायै नम:।

ॐ मात्रे नम:।

ॐ मातामह्यै नम:।

ॐ तृप्तये नम:।

ॐ पितृमात्रे नम:।

ॐ पितामह्यै नम:।

ॐ स्नुषायै नम:।

ॐ दौहित्रिण्यै नम:।

ॐ पुत्र्यै नम:।

ॐ पौत्र्यै नम:।

ॐ नप्त्र्यै नम:।

ॐ शिशुप्रियायै नम:।

ॐ स्तनदायै नम:।

ॐ स्तनधारायै नम:।

ॐ विश्वयोनये नम:।

ॐ स्तनन्धय्यै नम:।

ॐ शिशूत्सङ्गधरायै नम:।

ॐ दोलायै नम:।

ॐ दोलाक्रीडाभिनन्दिन्यै नम:।

ॐ उर्वश्यै नम:।

ॐ कदल्यै नम:।

ॐ केकायै नम:।

ॐ विशिखायै नम:।

ॐ शिखिवर्तिन्यै नम:। Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ खट्वाङ्गधारिण्यै नम:।

ॐ खट्वायै नम:।

ॐ बाणपुङ्खानुवर्तिन्यै नम:।

ॐ लक्ष्यप्राप्तये नम:।

ॐ कलायै नम:।

ॐ अलक्ष्यायै नम:।

ॐ लक्ष्यायै नम:।

ॐ शुभलक्षणायै नम:।

ॐ वर्तिन्यै नम:।

ॐ सुपथाचारायै नम:।

ॐ परिखायै नम:।

ॐ खनये नम:।

ॐ वृतये नम:।

ॐ प्राकारवलयायै नम:।

ॐ वेलायै नम:।

ॐ महोदधौमर्यादायै नम:।

ॐ पोषणीशक्तये नम:।

ॐ शोषणीशक्तये नम:।

ॐ दीर्घकेश्यै नम:।

ॐ सुलोमशायै नम:।

ॐ ललितायै नम:।

ॐ मांसलायै नम:।

ॐ तन्व्यै नम:।

ॐ वेदवेदाङ्गधारिण्यै नम:।

ॐ नरासृक्पानमत्तायै नम:।

ॐ नरमुण्डास्थिभूषणायै नम:। Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ अक्षक्रीडारतये नम:।

ॐ शार्यै नम:।

ॐ शारिकाशुकभाषिण्यै नम:।

ॐ शाम्बर्यै नम:।

ॐ गारुडीविद्यायै नम:।

ॐ वारुण्यै नम:।

ॐ वरुणार्चितायै नम:।

ॐ वाराह्यै नम:।

ॐ मुण्डहस्तायै नम:।

ॐ दंष्ट्रोद्धृतवसुन्धरायै नम:।

ॐ मीनमूर्तिधरायै नम:।

पढ़िए दुर्गा माता के 8 शक्तिशाली मंत्र 

ॐ मूर्तायै नम:।

ॐ वदन्यायै नम:।

ॐ प्रतिमाश्रयायै नम:।

ॐ अमूर्तायै नम:।

ॐ निधिरूपायै नम:।

ॐ शालग्रामशिलाशुचये नम:।

ॐ स्मृतये नम:।

ॐ संस्काररूपायै नम:।

ॐ सुसंस्कारायै नम:।

ॐ संस्कृतये नम:।

ॐ प्राकृतायै नम:।

ॐ देशभाषायै नम:।

ॐ गाथायै नम:।

ॐ गीतये नम:।

ॐ प्रहेलिकायै नम:।

ॐ इडायै नम:।

ॐ पिङ्गलायै नम:।

ॐ पिङ्गायै नम:।

ॐ सुषुम्णायै नम:।

ॐ सूर्यवाहिन्यै नम:।

ॐ शशिस्रवायै नम:।

ॐ तालुस्थायै नम:।

ॐ काकिन्यै नम:।

ॐ अमृतजीविन्यै नम:। Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ अणुरूपायै नम:।

ॐ बृहद्रूपायै नम:।

ॐ लघुरूपायै नम:।

ॐ गुरुस्थिरायै नम:।

ॐ स्थावरायै नम:।

ॐ जङ्गमायै नम:।

ॐ देव्यै नम:।

ॐ कृतकर्मफलप्रदायै नम:।

ॐ विषयाक्रान्तदेहायै नम:।

ॐ निर्विशेषायै नम:।

ॐ जितेन्द्रियायै नम:।

ॐ विश्वरूपायै नम:।

ॐ चिदानन्दायै नम:।

ॐ परब्रह्मप्रबोधिन्यै नम:।

ॐ निर्विकारायै नम:।

ॐ निर्वैरायै नम:।

ॐ विरतये नम:।

ॐ सत्यवर्धिन्यै नम:।

ॐ पुरुषाज्ञायै नम:।

ॐ भिन्नायै नम:।

ॐ क्षान्ति:कैवल्यदायिन्यै नम:।

ॐ विविक्तसेविन्यै नम:।

ॐ प्रज्ञाजनयित्र्यै नम:।

ॐ सौभाग्यसुभगाकारायै नम:।

ॐ सर्वसौभाग्यवर्धिन्यै नम:।

ॐ क्षेमङ्कर्यै नम:।

ॐ सिद्धिरूपायै नम:।

ॐ सत्कीर्तये नम:।

ॐ पथिदेवतायै नम:।

ॐ सर्वतीर्थमयीमूर्तये नम:।

ॐ सर्वदेवमयीप्रभायै नम:।

ॐ दुर्गाये नमः  Durga Maa Ke 1008 Shaktishaali Mantra

ॐ शक्तये नमः 

ॐ सर्वसिद्धिप्रदाशक्तये नम:।

ॐ सर्वमङ्गलमङ्गलायै नम:।

ॐ बहुश्रुतये नम:।

ॐ निरीहायै नम:।

ॐ समस्तैकायै नम:।

ॐ सर्वलोकैकसेवितायै नम:।

ॐ सेवायै नम:।

ॐ सेवाप्रियायै नम:।

ॐ सेव्यायै नम:।

ॐ सेवाफलविवर्धिन्यै नम:।

ॐ कलौकल्किप्रियाकाल्यै नम:।

ॐ दुष्टम्लेच्छविनाशिन्यै नम:।

ॐ प्रत्यञ्चायै नम:।

ॐ धनुर्यष्टये नम:।

ॐ खड्गधारायै नम:।

ॐ दुरानतये नम:।

ॐ अश्वप्लुतये नम:।

ॐ वल्गायै नम:।

ॐ सृणये नम:।

ॐ सन्मत्तवारणायै नम:।

ॐ वीरभुवे नम:।

ॐ वीरमात्रे नम:।

ॐ वीरसुवे नम:।

ॐ वीरनन्दिन्यै नम:।

ॐ जयश्रियै नम:।

ॐ जयदीक्षायै नम:।

ॐ जयदायै नम:।

ॐ जयवर्धिन्यै नम:।


माँ दुर्गा के 1008 मंत्र, maa ki kripa prapt karne ke achuk mantra, Devi Puja ke Mantra

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तन्त्रोक्तं देवीसूक्तम्‌ ॥ Tantroktam Devi Suktam ,  Meaning of Tantroktam Devi Suktam Lyrics in Hindi. देवी सूक्त का पाठ रोज करने से मिलती है महाशक्ति की कृपा | माँ दुर्गा जो की आदि शक्ति हैं और हर प्रकार की मनोकामना पूरी करने में सक्षम हैं | देवी सूक्तं के पाठ से माता को प्रसन्न किया जा सकता है | इसमें हम प्रार्थना करते हैं की विश्व की हर वास्तु में जगदम्बा आप ही हैं इसीलिए आपको बारम्बार प्रणाम है| नवरात्री में विशेष रूप से इसका पाठ जरुर करना चाहिए | Tantroktam Devi suktam  Ke Fayde aur lyrics आइये जानते हैं क्या फायदे होते हैं दुर्गा शप्तशती तंत्रोक्त देवी सूक्तं के पाठ से : इसके पाठ से भय का नाश होता है | जीवन में स्वास्थ्य  और सम्पन्नता आती है | बुरी शक्तियों से माँ रक्षा करती हैं, काले जादू का नाश होता है | कमजोर को शक्ति प्राप्त होती है | जो लोग आर्थिक तंगी से गुजर रहे हैं उनके आय के स्त्रोत खुलते हैं | जो लोग शांति की तलाश में हैं उन्हें माता की कृपा से शांति मिलती है | जो ज्ञान मार्गी है उन्हें सत्य के दर्शन होते हैं | जो बुद्धि चाहते हैं उन्हें मिलता है | भगवती की क

Rinmukteshwar mahadev mantra Ke fayde

कर्ज मुक्ति के लिए महादेव का शक्तिशाली मंत्र |  Rin Mukteshwar Mahadev Mantra | spell to overcome from debt, कहाँ पर है ऋण मुक्तेश्वर मंदिर ?, कर्ज बढ़ने के ज्योतिषीय कारण | ये मंत्र आर्थिक समस्याओं को दूर करने में बहुत मददगार है, किसी भी प्रकार के ऋण से छुटकारा दिलाने में मदद करता है, भगवान् शिव की कृपा को आकर्षित करने का बहुत ही सशक्त और सरल माध्यम है | अगर आपके ऊपर कर्जा बढ़ता जा रहा हो तो ऐसे में ऋणमुक्तेश्वर महादेव की पूजा बहुत लाभदायक है |  Rinmukteshwar mahadev mantra Ke fayde Read in english about Benefits Of RINMUKTESHWAR MANTRA हर महीने जब लेनदार पैसे मांगने आते हैं तो अच्छा नहीं लगता है , स्थिति तब और ख़राब होती है जब की देने के लिए धन नहीं होता है | कर्जा सिर्फ उस व्यक्ति को ही परेशां नहीं करता है जिसने लिया है अपितु पुरे परिवार को शर्मनाक स्थिति से गुजरने के लिए मजबूर करता है अतः जितना जल्दी हो सके कर्जे से बाहर आने की कोशिश करना चाहिए |  आज के इस युग में हर व्यक्ति दिखावटी जीवन जीना चाहता है और इसी कारण एक अंधी दौड़ में शामिल हो गया है | सुख सुविधाओं को एकत्र करने की चाह